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कुदरत ने फिर बरपाया कहर, ओलावृष्टि एवं बारिस से किसानों की फसलें हुई बर्बाद

बुधवार के रोज अचानक हुई बारिश व ओलावृष्टि से किसानों की रवि की बची खुची फसलें फिर बुरी तरह बर्बाद हो गई हैं। बुधवार के रोज हुए ओलावृष्टि एवं बारिस से किसान अपनी खराब फसल को देख उनके माथे पर चिंता की लकीरें दिखने लगी हैं। बुधवार की शाम शहर मुख्यालय से लेकर ग्रामीण अंचलों में ओलावृष्टि एवं बारिस हुई है। विकासखण्ड कबरई के अलग अलग क्षेत्रो में बारिश व ओलावृष्टि हुई है। ओलावृष्टि व बारिश से मटर, चना, अलसी, सरसों, चना, मसूर व गेंहू को भारी नुकसान हुआ है। 

      ज्ञातब्य हो कि बुंदेलखंड में किसान वर्ष में मात्र एक बार रवि की फसल की बुआई कर पैदावारी करता है। इसी पैदावारी से किसान अपने वर्ष भर के खर्च जैसे बेटियों के हाथ पीले करना, बच्चों की पढ़ाई लिखाई  सहित अपने व अपंने परिवार का भरणपोषण करता है। बुधवार के रोज हुई ओलावृष्टि व बारिस ने किसानों के वर्ष भर का बजट बिगाड़ दिया है यहां तक कि किसानों के खाने के लाले पड़ते दिखाई पड़ रहे हैं। बता दें कि विकासखण्ड कबरई ग्राम पिपरा,ज्योरीईया,श्रीनगर व जैतपुर के ग्राम स्यावन गुंड सहित तमाम गांवो में भारी ओलावृष्टि व बारिश हुई है। किसान राजेन्द्र राजपूत व देवी प्रसाद ने बताया कि ओलावृष्टि व बारिस से रवि की फसलें बुरी तरह बर्बाद हो गई है यहां तक कि इस बात की भी चिंता सताने लगी है कि साल भर का खर्च व खाने के लाले पड़ गए हैं। विदित हो कि इसके पूर्व करीब 15 दिन पहले बारिस एवं ओलावृष्टि हुई थी जिससे किसानों की फसलें चैपट हुई थी।  

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